Bihar News: बिहार के इन 46 प्रखंडों में खुलेंगे नए प्रदूषण जांच केंद्र, बिहार सरकार दे रही इतनी सब्सिडी Bihar News: बिहार के इन 46 प्रखंडों में खुलेंगे नए प्रदूषण जांच केंद्र, बिहार सरकार दे रही इतनी सब्सिडी Bihar Police News: बिहार के इस जिले के 24 थानों में नये थानाध्यक्षों की तैनाती, SSP के आदेश पर बड़ा फेरबदल Bihar Police News: बिहार के इस जिले के 24 थानों में नये थानाध्यक्षों की तैनाती, SSP के आदेश पर बड़ा फेरबदल Vaishali-Encounter: मारा गया कुख्यात अपराधी, पुलिस के साथ मुठभेड़ में हुआ ढेर--एसटीएफ का एक जवान घायल Bihar Crime News: बिहार में भूमि विवाद सुलझाने पहुंची पुलिस टीम पर हमला, डायल 112 के जवानों ने भागकर बचाई जान; 18 लोगों पर केस दर्ज बिहार में जीविका योजना से बदली महिलाओं की जिंदगी, 57 हजार करोड़ का मिला ऋण Bihar Politics: ‘नीतीश कुमार का विकास शहरों तक ही सीमित’ चचरी पुल के उद्घाटन के मौके पर बोले मुकेश सहनी Bihar Politics: ‘नीतीश कुमार का विकास शहरों तक ही सीमित’ चचरी पुल के उद्घाटन के मौके पर बोले मुकेश सहनी Kishtwar Cloudburst: किश्तवाड़ में बादल फटने से अबतक 33 की मौत, 100 से अधिक लोग घायल; रेस्क्यू ऑपरेशन जारी
1st Bihar Published by: First Bihar Updated Tue, 20 May 2025 07:54:46 AM IST
भवन निर्माण विभाग पहल - फ़ोटो Google
Bihar News: भवन निर्माण विभाग ने बिहार में हो रहे निर्माण कार्यों की गुणवत्ता को परखने के लिए एक महत्वपूर्ण पहल की है। विभाग की ओर से स्थापित केंद्रीय प्रयोगशाला ने पहली बार निर्माण स्थलों पर जाकर मिट्टी की जांच शुरू कर दी है। इसकी शुरुआत औरंगाबाद जिले के हसपुरा में एक निर्माण स्थल से की गई है।
अब तक भवन निर्माण में प्रयोग की जाने वाली मिट्टी और अन्य सामग्रियों की गुणवत्ता जांच निजी एजेंसियों के माध्यम से होती थी, जिससे रिपोर्ट में देरी और मानकों में बार-बार बदलाव जैसी समस्याएं सामने आती थीं। लेकिन अब विभागीय स्तर पर ही समयबद्ध जांच संभव हो सकेगी, जिससे न केवल खर्च और समय की बचत होगी, बल्कि कार्यों में पारदर्शिता और विश्वसनीयता भी बढ़ेगी।
भवन निर्माण मंत्री जयंत राज और विभाग के सचिव कुमार रवि द्वारा हाल ही में उद्घाटन की गई इस प्रयोगशाला में 55 से अधिक आधुनिक उपकरण लगाए गए हैं। ये उपकरण पुरानी, निर्माणाधीन और आगामी संरचनाओं की गहन तकनीकी जांच में सक्षम हैं।
सचिव कुमार रवि ने इस पहल को विभाग की तकनीकी उत्कृष्टता और गुणवत्ता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया। उन्होंने कहा कि अब इंजीनियरों की प्रतिनियुक्ति के साथ विभागीय टीमें खुद निर्माण स्थलों पर पहुंचकर मिट्टी और अन्य सामग्रियों की जांच करेंगी, जिससे निर्माण में उच्च गुणवत्ता सुनिश्चित की जा सकेगी।
यह प्रयोगशाला सिर्फ भवन निर्माण विभाग ही नहीं, बल्कि अन्य सरकारी विभागों की संरचनाओं की गुणवत्ता जांच में भी सहयोग करेगी। इससे भविष्य में पूरे बिहार में निर्माण कार्यों के लिए नई गुणवत्ता मानक स्थापित होंगे।