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Success Story: स्कूल से निकाले जाने के बाद भी नहीं टूटे हौसले, संघर्ष और जुनून ने बना दिया IPS ऑफिसर

Success Story: यह कहानी आईपीएस आकाश कुल्हारी की है, जिन्होंने शुरुआती असफलताओं के बावजूद पहले ही प्रयास में यूपीएससी पास कर मिसाल कायम की है.

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Fri, 11 Apr 2025 06:24:32 PM IST

Success Story

सफलता की कहानी - फ़ोटो GOOGLE

Success Story: यूनियन पब्लिक सर्विस कमीशन (UPSC) जैसी प्रतिष्ठित और कठिन परीक्षा को पास करने वाले अभ्यर्थियों की कहानियां अक्सर युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बनती हैं, लेकिन कुछ कहानियां बेहद खास होती हैं, क्योंकि वे हमें यह सिखाती हैं कि संघर्ष, निराशा और असफलता के बावजूद भी अगर मेहनत और संकल्प मजबूत हो, तो कुछ भी असंभव नहीं है। ऐसी ही कहानी आईपीएस आकाश कुल्हारी की है, जो स्कूल में बहुत अच्छे छात्र नहीं थे। उन्हें स्कूल से निकाल भी दिया गया था, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और कड़ी मेहनत से सफलता अपने नाम कर लिया। 


शुरुआत कठिन, लेकिन हौसले बुलंद

राजस्थान के बीकानेर में जन्मे आकाश कुल्हारी पढ़ाई में शुरुआत से ही औसत छात्र रहे। दसवीं कक्षा में उन्हें मात्र 57% अंक मिले, जिसके कारण उन्हें 11वीं में स्कूल ने दाखिला देने से मना कर दिया। यह अनुभव उनके लिए बेहद निराशाजनक था, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी। इसके बाद उन्होंने केंद्रीय विद्यालय में एडमिशन लिया और यहां से उन्होंने खुद को पूरी तरह बदल दिया। कड़ी मेहनत का नतीजा यह रहा कि 12वीं कक्षा में उन्होंने 85% अंक हासिल किए।


उच्च शिक्षा और तैयारी

आकाश ने बी.कॉम की पढ़ाई बीकानेर के दुग्गल कॉलेज से की।

फिर उन्होंने जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU), दिल्ली से एम.ए. की डिग्री हासिल की।

इसके बाद उन्होंने एम.फिल में दाखिला लिया और साथ ही UPSC की तैयारी शुरू कर दी।


आकाश ने वर्ष 2005 में UPSC सिविल सेवा परीक्षा दी और पहले ही प्रयास में 273वीं रैंक हासिल की। इसके बाद वह 2006 बैच के आईपीएस अधिकारी बने। यह साबित करता है कि असफलता की कोई परिभाषा स्थायी नहीं होती, अगर प्रयास सच्चे हों। वहीं, उत्तर प्रदेश पुलिस की वेबसाइट uppolice.gov.in के अनुसार, आकाश कुल्हारी उत्तर प्रदेश कैडर से हैं और वर्तमान में IG (जन शिकायत) / DGP मुख्यालय में कार्यरत हैं। वे अपने सेवा क्षेत्र में कर्तव्यनिष्ठा और संवेदनशीलता के लिए जाने जाते हैं।


आकाश कुल्हारी की कहानी उन लाखों युवाओं के लिए प्रेरणा है जो पढ़ाई में असफल होने या बार-बार रिजल्ट खराब आने पर खुद को कम आंकते हैं। यह कहानी बताती है कि असफलता अंत नहीं है, बल्कि एक नई शुरुआत का अवसर है।