पूर्णिया के तटीय इलाकों में मंडराने लगा बाढ़ का खतरा, कनकई नदी का जलस्तर बढ़ने से कटाव हुआ शुरू

1st Bihar Published by: Tahsin Ali Updated Wed, 22 Jun 2022 04:51:38 PM IST

पूर्णिया के तटीय इलाकों में मंडराने लगा बाढ़ का खतरा, कनकई नदी का जलस्तर बढ़ने से कटाव हुआ शुरू

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PURNIA: जहां एक तरफ नेपाल के तराई क्षेत्र में लगातार हो रही बारिश ने नदियों के जल स्तर को बढ़ा दिया है। वही दूसरी तरफ पूर्णिया तटीय इलाके अमौर मे लगातार  मानसूनी बारिश होने से बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। यहां कनकइ नदी मे जलस्तर बढ़ने के कारण डहुआबारी पंचायत के तालबारी टोला में कटाव होना शुरू हो गया है। जिसके कारण लोग दहशत के साए में हैं। कटाव निरोधी कार्य नहीं शुरू किए जाने से ग्रामीणों में आक्रोश है। लोग मकान ,बाँस, पेड़ पौधे काटकर पलायन करने पर मजबूर हो रहे हैं। लोगों की इस हालात से प्रशासन भी बेखबर है।


गौरतलब है कि बीते वर्ष तालबारी टोला में 70 से अधिक परिवारों के घर कटाव के ज़द में आकर नदियों में समा गए और विस्थापित हो चुके हैं । ऐसे में इस गांव का अस्तित्व समाप्त होने की कगार पर पहुंच गया है । अब नदी किनारे घर तो नहीं है लेकिन गांव भी नदी से दूर नहीं है। जबकि पिछले साल प्राथमिक विद्यालय, तालबाड़ी टोला ,आंगनबाड़ी केंद्र, सड़क मार्ग भी नदी के आगोस में आने से विलीन हो गये। लोगों का आशियाना उजड़ गया। कई परिवार बेघर हो गये। कई लोग भी पलायन कर चुके हैं।


कुछ परिवारों के पास सुविधा नहीं होने के कारण रंगामाटी में बने स्वास्थ्य केंद्र में शरण ले चुके हैं। तालवारी पंचायत के महादलित टोला के परिवारों के घर भी महज पाँच सौ गज की दूरी पर ही है। न जाने कब कनकइ नदी के कटाव में आ जाए। महादलित टोला के दर्जनों महादलित परिवारों ने बताया कि सभी ने इस गाँव के साथ सौतेलापन किया है। जिस कारण अबतक कटाव निरोधी कार्य शुरू नहीं हुआ है । जबकि बाढ आने के पहले कटाव निरोधक कार्य हो जाना चाहिए था। अधिकारियों से लेकर विधायक एवं सांसद तक को मालूम है कि कनकई नदी का कटाव कैसे होता है। फिलहाल लोग सरकार से मदद की आस लगाए बैठे हैं।