Dhirendra Shastri: गयाजी पहुंचे बागेश्वर धाम वाले पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री, पीएम मोदी को दे दी बड़ी नसीहत Dhirendra Shastri: गयाजी पहुंचे बागेश्वर धाम वाले पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री, पीएम मोदी को दे दी बड़ी नसीहत vehicle Number Plate: गाड़ी मालिकों के लिए जरूरी खबर! अब पुराने नंबर प्लेट पर नहीं चलेगा बल, जानें... क्या है मामला Bihar SVU Raid: शिक्षा विभाग के उपनिदेशक वीरेंद्र नारायण सस्पेंड, 3.76 करोड़ की अवैध संपत्ति का आरोप Patna Crime News: पटना में दिव्यांग युवक की पत्थर से कुचलकर हत्या, खून से सना शव मिलने से सनसनी Patna Crime News: पटना में दिव्यांग युवक की पत्थर से कुचलकर हत्या, खून से सना शव मिलने से सनसनी Bihar Politics: नीतीश कैबिनेट की महिला मंत्री करोड़ों की संपत्ति की मालकिन, लग्जरी लाइफस्टाइल पर टिकी सबकी नजरें Jitiya vrat 2025: जितिया व्रत में दही-चूड़ा खाने की परंपरा के पीछे क्या है रहस्य? जानिए...पूरी कहानी DD Lapang: पूर्व सीएम डीडी लपांग का 93 वर्ष की उम्र में निधन, मेघालय की राजनीति में एक युग का अंत DD Lapang: पूर्व सीएम डीडी लपांग का 93 वर्ष की उम्र में निधन, मेघालय की राजनीति में एक युग का अंत
1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 13 Sep 2025 09:36:16 AM IST
प्रतीकात्मक - फ़ोटो Google
Bihar News: बिहार के भागलपुर जिले में लंबे समय से अटका हुआ भागलपुर-हंसडीहा फोरलेन सड़क प्रोजेक्ट अब नई दिशा में आगे बढ़ने वाला है। करीब दो साल से जमीन अधिग्रहण के पेच में फंसे इस 70 किलोमीटर लंबे NH-133E के निर्माण के लिए संशोधित डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट मुख्यालय भेज दी गई है। इसके आधार पर जल्द ही निविदा जारी की जाएगी और निजी जमीन के अधिग्रहण को न्यूनतम रखा जाएगा। सड़क मंत्रालय के क्षेत्रीय अधिकारी ने हाल ही में निरीक्षण के दौरान डीपीआर में बदलाव के निर्देश दिए थे, जिससे प्रोजेक्ट में देरी दूर हो सकेगी। यह सड़क बिहार को झारखंड और पश्चिम बंगाल से जोड़ेगी, जिससे यात्रा का समय आधा हो जाएगा।
प्रोजेक्ट की शुरुआत 2022 में हुई थी, जब डीपीआर के मुताबिक पहले चरण में भागलपुर से ढाकामोड़ तक 971 करोड़ रुपये का खर्च अनुमानित था। लेकिन जमीन अधिग्रहण की समस्या से काम रुका रहा। अब संशोधन के तहत सड़क की चौड़ाई को 55-60 मीटर से घटाकर 50-55 मीटर कर दिया गया है। सर्विस लेन की चौड़ाई भी 7 मीटर से घटाकर 5.5 मीटर होगी, विशेषकर हाट पुरैनी, सांझा, रजौन और पुनसिया जैसे संवेदनशील इलाकों में। इससे घरों का टूटना कम होगा और अधिग्रहण की राशि भी 150 करोड़ से घटकर 105 करोड़ रुपये रह जाएगी। कुल निर्माण लागत में 35-40 करोड़ की कमी आएगी जो 50-60 करोड़ तक भी पहुंच सकती है।
पहले चरण में अलीगंज बाईपास थाना से ढाकामोड़ तक का काम प्राथमिकता में है। यहां संझा, आगियाचक, टेकानी, धौनी, कटियामा, बखडाबेला, रजौन और केवाड़ी जैसे इलाकों में सरकारी गैरमजरुआ रास्ते, बांध, नदी, नाली, पोखर, दुकानें, कच्चे-पक्के मकान और स्कूल का हाता समेत 10.02 एकड़ जमीन अधिग्रहण की योजना थी। लेकिन अब कम जमीन का अधिग्रहण होगा, जिससे स्थानीय लोगों की आपत्तियां कम होंगी। क्षेत्रीय अधिकारी के निरीक्षण के बाद ये बदलाव सुझाए गए, ताकि प्रोजेक्ट तेजी से आगे बढ़े।
यह फोरलेन सड़क पूरे 70 किलोमीटर में बिहार-झारखंड सीमा को जोड़ेगी, जहां भागलपुर से एकचारी-महगामा तक 40 किलोमीटर का हिस्सा पहले चरण में बनेगा। महगामा से हंसडीहा तक NH पहले से निर्माणाधीन है, और हंसडीहा से देवघर (चौपामोड़) तक भी मंजूरी मिल चुकी है। कुल लागत 1973 करोड़ रुपये अनुमानित है। प्रोजेक्ट पूरा होने पर भागलपुर से देवघर का सफर डेढ़ घंटे में हो जाएगा और मुंगेर-मिर्जाचौकी फोरलेन से जुड़कर बंगाल तक पहुंच आसान हो जाएगी। स्थानीय लोग इसे आर्थिक विकास का बड़ा अवसर मान रहे हैं, लेकिन अधिग्रहण में पारदर्शिता की मांग भी कर रहे हैं। राष्ट्रीय राजमार्ग विभाग ने आश्वासन दिया है कि मुआवजा समय पर दिया जाएगा।