‘दबंग होना अगर लुटेरों और भ्रष्टाचारियों में खौफ पैदा करे तो बेहतर है : खुद को बाहुबली कहे जाने पर आनंद मोहन की दो टूक

‘दबंग होना अगर लुटेरों और भ्रष्टाचारियों में खौफ पैदा करे तो बेहतर है : खुद को बाहुबली कहे जाने पर आनंद मोहन की दो टूक

MOTIHARI : पूर्व सांसद आनंद मोहन शनिवार को मोतिहारी पहुंचे और उन्होंने पत्रकारों से बातचीत में दावा किया कि शिवहर लोकसभा क्षेत्र से जदयू प्रत्याशी व उनकी पत्नी लवली आनंद की एकतरफा जीत होगी। शिवहर लोकसभा क्षेत्र में विपक्ष लड़ाई में कहीं नहीं है। खुद को बाहुबली और बाहरी कहे जाने पर आनंद मोहन खुलकर बोले और कहा कि बाहुबली होना कोई गलत बात नहीं है।


पूर्व सांसद आनंद मोहन ने कहा कि दबंग होना कोई बुरी बात नहीं है। आप लोग बाहुबली भी कहते हैं लेकिन यह नहीं कहते कि आनंद मोहन की लिखी पुस्तक राजकमल जैसे प्रतिष्ठित प्रकाशन ने प्रकाशित किया है। पहली कहानी जो मैंने लिखी वह किसी राजे रजवाड़े या कोई प्रेम कहानी नहीं थी, बल्कि दशरथ मांझी के ऊपर लिखी, गई है, जो सीबीएसई से स्वीकृत हुआ है। जिसे पढ़कर बच्चे डिग्रियां प्राप्त कर रहे हैं और इंजीनियर, आईपीएस और आईएएस बनते हैं।


उन्होंने कहा कि दबंग होना अगर लुटेरों और भ्रष्ट ऑफिसरों में खौफ पैदा करे तो दबंग होना बेहतर है। शिवहर लोकसभा क्षेत्र में बाहरी कहे जाने पर आनंद मोहन ने कहा कि जो पार्टी यह सवाल पूछ रही है, उनसे पूछिए कि पिछली बार गया से उम्मीदवार कौन लाया और आज उनका उम्मीदवार कहां से है जो यह सवाल पूछ रहे हैं। उनका उम्मीदवार कहां का है? हर व्यक्ति अपने गांव से बाहर बाहरी है। 


आनंद मोहन ने कहा कि वीरों और नदियों की ना कोई जात होती है और न ही कोई स्थान होता है। वह जिधर से निकल पड़ता है, अपना रास्ता बना लेता है और जहां रुक जाता है झील बनकर लोगों की प्यास बुझाता है। मैं विपक्ष से पूछना चाहता हूं कि गोपालगंज के उनके जो नेता हैं, वह किस आधार पर मधेपुरा से चुनाव लड़ने गए थे। गोपालगंज की रहने वाली पाटलिपुत्र से कैसे चुनाव लड़ रही है। आज गुजरात से नरेंद्र भाई मोदी निकले और बनारस में परचम फहरा दिया। आनंद मोहन सहरसा से निकले और शिवहर की जनता ने उन्हें अपना लिया।