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आतंकी हमले के खिलाफ छातापुर में कैंडल मार्च, यह निर्दोष लोगों पर नहीं, बल्कि पूरे भारतवर्ष की आत्मा पर हमला है: संजीव मिश्रा

यथासंभव काउंसिल के बैनर तले शनिवार शाम एक विशाल कैंडल मार्च निकाला गया, जिसमें बड़ी संख्या में आम नागरिक, समाजसेवी और युवाओं ने भाग लेकर शहीदों को भावभीनी श्रद्धांजलि दी और आतंकवाद के खिलाफ एकजुट होकर संघर्ष का संकल्प लिया।

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 26 Apr 2025 10:31:22 PM IST

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आतंक के खिलाफ एकजुटता - फ़ोटो google

SUPAUL: जम्मू कश्मीर के अनंतनाग के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 पर्यटक मारे गये। आतंकियों के कायराना हरकतों के खिलाफ देशभर में इस घटना का विरोध हो रहा है. बिहार के सुपौल जिले के छातापुर में भी इस घटना का जमकर विरोध हुआ। आतंकी हमले के खिलाफ यथासंभव काउंसिल ने शनिवार की शाम में कैंडल मार्च निकाला और शहीदों को भावभीनी श्रद्धांजलि दी।


छातापुर (सुपौल)। शनिवार को यथासंभव काउंसिल के तत्वावधान में एक विशाल केंडल मार्च का आयोजन किया गया। यह मार्च छातापुर मुख्यालय स्थित पुराने पेट्रोल पंप से प्रारंभ होकर दुर्गा मंदिर तक पहुँचा। इस आयोजन का उद्देश्य हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगांव क्षेत्र में हुए जघन्य आतंकी हमले के प्रति आक्रोश व्यक्त करना और शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करना था।


कैंडिल मार्च के दौरान बड़ी संख्या में क्षेत्र के गणमान्य नागरिक, युवा, समाजसेवी, व्यापारी वर्ग एवं आम जनता ने भाग लिया। सभी प्रतिभागी मोमबत्तियां हाथों में लेकर चुपचाप आगे बढ़ते रहे और ‘शहीद अमर रहें’, ‘भारत माता की जय’ और ‘आतंकवाद मुर्दाबाद’ के नारों से वातावरण गूंज उठा।


कार्यक्रम का नेतृत्व पनोरमा ग्रुप के प्रबंध निदेशक एवं यथासंभव काउंसिल के राष्ट्रीय संरक्षक संजीव मिश्रा ने किया। उन्होंने कहा कि "यह हमला केवल कुछ निर्दोष लोगों पर नहीं, बल्कि पूरे भारतवर्ष की आत्मा पर हमला है। हम सबका कर्तव्य है कि एकजुट होकर आतंकवाद के विरुद्ध संघर्ष करें और अपने शहीदों के बलिदान को व्यर्थ न जाने दें।


मार्च के समापन पर दुर्गा मंदिर परिसर में शहीदों के सम्मान में एक भावनात्मक कार्यक्रम आयोजित किया गया। सभी उपस्थित लोगों ने आतंकवादी हमले में बलिदान हुए वीरों की आत्मा की शांति हेतु दो मिनट का मौन धारण किया।


प्रमुख उपस्थित गणमान्य व्यक्तियों में संजीव मिश्रा के साथ-साथ चंद्रदेव पासवान, हर्षित, अमित मिश्रा, हरी मिश्रा, अरुण झा, मिंटू झा, लाल मोहन मेहता सहित कई अन्य समाजसेवी एवं युवा नेता शामिल रहे। सभी ने एक स्वर में आतंकवाद के खिलाफ कठोर कार्रवाई की माँग की और देश की अखंडता एवं संप्रभुता की रक्षा के लिए संकल्प लिया।


कार्यक्रम के दौरान कई वक्ताओं ने आतंकवाद के बढ़ते खतरे पर चिंता जताई और सरकार से इसके खिलाफ ठोस कदम उठाने की अपील की। वहीं युवाओं ने भी संकल्प लिया कि वे देशभक्ति की भावना को जागृत रखते हुए राष्ट्र निर्माण में सक्रिय योगदान देंगे।


यथासंभव काउंसिल के पदाधिकारियों ने यह भी घोषणा की कि संगठन भविष्य में आतंकवाद और अलगाववाद के खिलाफ जन-जागरूकता कार्यक्रम चलाएगा, शहीद परिवारों के सहयोग हेतु विशेष अभियान प्रारंभ करेगा तथा युवाओं में देशभक्ति की भावना को प्रोत्साहित करने के लिए विभिन्न आयोजन करेगा। यह कैंडल मार्च न केवल आतंकवाद के खिलाफ आक्रोश का प्रतीक था, बल्कि शहीदों के प्रति जनमानस के अपार श्रद्धा व समर्थन का भी द्योतक बना।