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1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 02 Feb 2025 07:33:38 AM IST
bugget 2025 - फ़ोटो bugget 2025
bugget 2025 : अपने मकान को किराया पर देने वाले मकान मालिकों के लिए बड़ी खबर है। दरअसल, सरकार ने किराये पर दी गई संपत्ति से अर्जित आय पर टैक्स कटौती की सीमा को मौजूदा 2.4 लाख रुपये वार्षिक से बढ़ाकर छह लाख रुपये करने का प्रस्ताव रखा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2025-26 का बजट पेश करते हुए किराये पर टीडीएस (स्रोत पर कर कटौती) की वार्षिक सीमा बढ़ाने की घोषणा की है।
निर्मला सीतारमण ने कहा- मैं कटौती की दरों और सीमाओं को घटाकर टीडीएस को तर्कसंगत बनाने का प्रस्ताव करती हूं। इसके साथ बेहतर स्पष्टता और एकरूपता के लिए कर कटौती की सीमा राशि भी बढ़ाई जाएगी। उन्होंने कहा कि किराये पर टीडीएस के लिए 2.40 लाख रुपये की वार्षिक सीमा को बढ़ाकर छह लाख रुपये किया जा रहा है। इससे टीडीएस के लिए उत्तरदायी लेनदेन की संख्या कम हो जाएगी, जिससे छोटे भुगतान लेने वाले करदाताओं को लाभ होगा।
मालूम हो कि आयकर अधिनियम की धारा 194-आई के मुताबिक, किराये के तौर पर निवासी को कोई भी राशि देते समय लागू दरों पर आयकर उस वक्त काटना चाहिए, जब किराये की आय एक वित्त वर्ष में 2.4 लाख रुपये से अधिक हो। हालांकि, बजट 2025-26 में किराये के रूप में आय की इस कर कटौती सीमा को बढ़ाकर 50,000 रुपये प्रति माह करने का प्रस्ताव रखा गया है। यह प्रावधान व्यक्तिगत करदाता या अविभाजित हिंदू परिवार से इतर ही लागू होगा।
डेलॉयट इंडिया में साझेदार आरती रावते ने इस प्रावधान पर कहा, ‘‘इसका मतलब होगा कि अगर जमीन या मशीनरी आदि को कुछ महीनों के लिए किराये पर लिया जाता है और किराया 50,000 रुपये से अधिक है, तो फिर टीडीएस कटौती जरूरी होगी।’’ इस बारे में क्रेडाई-एमसीएचआई के अध्यक्ष डॉमनिक रोमेल ने कहा कि किराये पर वार्षिक टीडीएस सीमा को छह लाख रुपये किए जाने से छोटे करदाताओं और मकान मालिकों को काफी फायदा होगा और अनुपालन बोझ भी कम होगा।