1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 15 Nov 2025 02:15:50 PM IST
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Bihar Election Results : बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में भारतीय जनता पार्टी ने जिस रणनीति, नेतृत्व क्षमता और जमीनी पैठ के भरोसे चुनावी रण में उतरकर विजय पताका फहराई, उसमें कई बड़े नामों की भूमिका अहम रही। इनमें विशेष रूप से दो नेता सुर्खियों में रहे—बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और लखीसराय से भाजपा उम्मीदवार तथा पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा। इन दोनों नेताओं के लिए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने चुनाव प्रचार के दौरान बड़ा वादा किया था। उन्होंने जनता के बीच यह भरोसा जगाया था कि इन्हें प्रचंड बहुमत से जिताइए, हम इन्हें “बड़ा आदमी” बनाएंगे। चुनाव परिणामों ने साबित कर दिया कि जनता ने अमित शाह के इस भरोसे को न सिर्फ सुना बल्कि उसे दिल से स्वीकार भी किया।
सम्राट चौधरी: ‘डबल इंजन’ का भरोसा और भारी जीत
तारापुर विधानसभा सीट पर भाजपा ने सम्राट चौधरी को उम्मीदवार बनाकर मुकाबला दिलचस्प बना दिया था। जब अमित शाह मुंगेर पहुंचे और सम्राट चौधरी के लिए वोट मांगने मंच पर आए, तो उन्होंने जनता से अपील करते हुए कहा था—“आप भरोसा रखिए… सम्राट चौधरी को प्रचंड बहुमत से जिताइए, मोदी जी सम्राट चौधरी को बड़ा आदमी बनाएंगे।” अमित शाह ने इस दौरान मुंगेर और आस-पास के इलाकों में हुए विकास कार्यों का विस्तृत ब्योरा जनता के सामने रखा। उन्होंने बताया कि कैसे ‘डबल इंजन की सरकार’ ने सड़क, स्वास्थ्य, शिक्षा, सिंचाई और सुरक्षा के क्षेत्र में बिहार को नई दिशा दी है। शाह के इन बयानों का जमीन पर असर साफ दिखा।
इसके बाद चुनाव परिणाम आए और सम्राट चौधरी ने आरजेडी प्रत्याशी अरुण कुमार को 45,843 मतों के भारी अंतर से हरा दिया। भाजपा को 1,22,480 वोट मिले, जबकि आरजेडी उम्मीदवार अरुण कुमार के खाते में 76,637 वोट आए। यह जीत सिर्फ एक जीत नहीं थी, बल्कि भाजपा के विकास मॉडल पर जनता की मुहर और सम्राट चौधरी के प्रति विश्वास का प्रतीक थी।
विजय कुमार सिन्हा: लखीसराय में अमित शाह का ‘भरोसेमंद साथी’ साबित
लखीसराय में विजय कुमार सिन्हा पिछले कई वर्षों से भाजपा के मजबूत चेहरा रहे हैं। चुनाव प्रचार के दौरान जब अमित शाह यहां पहुंचे, तो उन्होंने मंच से कहा था—“विजय कुमार सिन्हा हमारे भरोसेमंद आदमी हैं। आप इन्हें प्रचंड बहुमत से जिताओ, हम इसे बड़ा आदमी बनाएंगे।”शाह का यह बयान न सिर्फ एक राजनीतिक संदेश था बल्कि लोगों में एक भावनात्मक जुड़ाव भी बना गया। विजय कुमार सिन्हा की साफ छवि, क्षेत्रीय विकास के मुद्दों पर उनकी पकड़ और भाजपा की राज्यस्तरीय नीतियों का लाभ मिलकर उन्हें चुनावी मुकाबले में आगे ले गया।
नतीजों में यह स्पष्ट दिखा कि जनता ने शाह की अपील को पूरे मन से स्वीकार किया। विजय कुमार सिन्हा ने कांग्रेस उम्मीदवार अमरेश कुमार को 24,940 मतों से हराकर शानदार जीत दर्ज की। उनके खाते में 1,22,408 वोट आए, जबकि कांग्रेस उम्मीदवार को 97,468 वोट मिले।लखीसराय के इस नतीजे ने यह भी साबित कर दिया कि चाहे महागठबंधन कितने भी दावे कर ले, नरेंद्र मोदी और अमित शाह के नेतृत्व में भाजपा की पकड़ ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में मजबूत होती जा रही है।
अमित शाह की रणनीति क्यों हुई कामयाब?
अमित शाह की चुनावी शैली बिल्कुल अलग मानी जाती है। बिहार में उन्होंने जिन दो नेताओं को “बड़ा आदमी” बनाने का वादा किया, उसके पीछे कई कारण थे—दोनों नेता संगठनात्मक रूप से मजबूत है जनता के बीच कार्यकर्ता से नेता तक का साफ सफर,क्षेत्र में व्यापक जनसंपर्क और सक्रियता,मोदी सरकार की योजनाओं का सही लाभ जनता तक पहुंचाना। शाह ने जनसभाओं में इस बात को बार-बार दोहराया कि भाजपा सरकार में नेतृत्व की कोई कमी नहीं है और सम्राट चौधरी तथा विजय कुमार सिन्हा जैसे नेता भविष्य में बिहार की राजनीति में बड़ी भूमिका निभाएंगे।
जनता ने भरोसा दिखाया, भाजपा ने कमाल किया
तारापुर और लखीसराय के नतीजों ने साफ कर दिया कि भाजपा का जनाधार लगातार बढ़ रहा है और लोग स्थिर, विकासवादी सरकार चाहते हैं। सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा की ऐतिहासिक जीत ने यह भी साबित किया कि अमित शाह का चुनावी जादू आज भी उतना ही प्रभावी है जितना पहले था। दोनों नेताओं पर अब जनता का भरोसा और अपेक्षा दोनों बढ़ गई है। आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा उन्हें किस तरह “बड़ा आदमी” बनाकर राज्य की राजनीति में नई ऊंचाइयों तक पहुंचाती है।