ब्रेकिंग न्यूज़

Life Style: आप भी रखते हैं फ्रिज में अनार, तो हो जाएं सावधान; भारी पड़ सकती है यह गलती Pahalgam Attack: पाकिस्तान में दिखा पहलगाम हमले का मास्टरमाइंड, आतंकी हाफिज सईद का बेटा भी था साथ Pahalgam Attack: पाकिस्तान में दिखा पहलगाम हमले का मास्टरमाइंड, आतंकी हाफिज सईद का बेटा भी था साथ Bihar News: बिहार में यहां बनने जा रहा है विश्वस्तरीय बस टर्मिनल, टेंडर की प्रक्रिया शुरू Bihar News: बिहार में दर्दनाक सड़क हादसे में एक ही परिवार के चार लोगों की मौत, शादी से लौटने के दौरान ट्रक ने ऑटो में मारी जोरदार टक्कर Bihar News: बिहार में दर्दनाक सड़क हादसे में एक ही परिवार के चार लोगों की मौत, शादी से लौटने के दौरान ट्रक ने ऑटो में मारी जोरदार टक्कर Bihar Politics: नीतीश कुमार ही होंगे सीएम फेस या कोई और? पीएम मोदी से प्रशांत किशोर का सवाल Bihar Politics: नीतीश कुमार ही होंगे सीएम फेस या कोई और? पीएम मोदी से प्रशांत किशोर का सवाल Bihar Crime News: डीजल चोर निकला बिहार पुलिस का जवान, DSP के फर्जी सिग्नेचर के जरिए कर रहा था बड़ा खेल Bihar Crime News: डीजल चोर निकला बिहार पुलिस का जवान, DSP के फर्जी सिग्नेचर के जरिए कर रहा था बड़ा खेल

बिहार: 30 दिनों में होगी पीक पर होगी तीसरी लहर, अभी तक की स्टडी से मिले ये संकेत

1st Bihar Published by: Updated Tue, 04 Jan 2022 08:00:58 AM IST

बिहार:  30 दिनों में होगी पीक पर होगी तीसरी लहर, अभी तक की स्टडी से मिले ये संकेत

- फ़ोटो

PATNA : कोरोना वायरस का नया वैरिएंट ओमिक्रॉन देश के सामने एक नई मुसीबत बनकर खड़ा हो गया है. इसकी गंभीरता और लक्षणों को लेकर कई तरह के दावे किए जा रहे हैं. बिहार में कोरोना पिछले कुछ दिनों में काफी तेजी से बढ़ रहे है. अनुमान लगाया जा रहा है कि जल्द ही तीसरी लहर पीक पर पहुंच सकती है.


बिहार में कोरोना की लहर तेज हो गई है. जिसको देखते हुए बताया जा रहा है कि 30 दिनों में यह पीक पर पहुंच सकती है. हालांकि बाद में इसमेंगिरावट आ सकती है. लेकिन इस लहर के नीचे आने में लगभग ढाई से तीन माह लग सकते हैं. 


पटना विश्वविद्यालय के बायोटेक्नोलॉजी डिपार्टमेंट के प्रोफेसर डॉ वीरेंद्र प्रसाद के अनुसार इस लहर में सबसे ज्यादा बच्चों और लंबी बीमारी से ग्रसित मरीजों को बचाने की जरूरत है. साथ ही कोरोना की तीसरी लहर से सामना करने में हमारे वैक्सीन राहत देगी. प्रो वीरेंद्र ने बताया कि अब तक के स्टडी के अनुसार टीकाकरण से उपजी एंटीबॉडी एक समय सीमा के बाद घटने लगती है. लिहाजा उसे बढ़ाने के लिए बूस्टर डोज की जरूरत महसूस होना तय है. दरअसल, भारत समेत दुनिया में कोरोना रोकने के लिए लगाये गये टीके आपातकालीन हैं. पांच साल के स्टेंडर्ड प्रोटोकाल से बनने वाले टीकों का हमें कम-से-कम ढाई साल और इंतजार करना होगा.