ब्रेकिंग न्यूज़

BIHAR: अश्विनी हत्याकांड का मुख्य आरोपी गिरफ्तार, घटना के दो महीने बाद पुलिस ने दबोचा बेगूसराय में बाढ़ का कहर: 12 घंटे में 7 की मौत, प्रशासन पर लापरवाही का आरोप BIHAR: गंगा नदी में 100 KM बहकर बचा शख्स, बेंगलुरु से आने के बाद पटना में लगाई थी छलांग Bihar News: बिहार में पानी में डूबने से दो सगी बहनों की मौत, छोटी सी गलती और चली गई जान Bihar Crime News: बिहार में एक धुर जमीन के लिए हत्या, चचेरे भाई ने लाठी-डंडे से पीट-पीटकर ले ली युवक की जान Bihar Crime News: बिहार में एक धुर जमीन के लिए हत्या, चचेरे भाई ने लाठी-डंडे से पीट-पीटकर ले ली युवक की जान Bihar News: बिहार में दर्दनाक सड़क हादसे में देवर-भाभी की मौत, मायके से लौटने के दौरान तेज रफ्तार वाहन ने रौंदा Bihar News: बिहार में दर्दनाक सड़क हादसे में देवर-भाभी की मौत, मायके से लौटने के दौरान तेज रफ्तार वाहन ने रौंदा Bihar News: पुनौरा धाम को देश के प्रमुख शहरों से जोड़ने की कवायद शुरू, सड़क, रेल और हवाई मार्ग से होगी कनेक्टिविटी Bihar News: पुनौरा धाम को देश के प्रमुख शहरों से जोड़ने की कवायद शुरू, सड़क, रेल और हवाई मार्ग से होगी कनेक्टिविटी

Land mutation and registry : जानिए वो ज़रूरी बातें जो आपकी प्रॉपर्टी को बना सकती हैं सुरक्षित!

Land mutation and registry : भारत में प्रॉपर्टी खरीदना सिर्फ एक निवेश नहीं, बल्कि एक सपना पूरा करने जैसा होता है। लेकिन इस सपने को सुरक्षित और कानूनी रूप से मजबूत बनाने के लिए रजिस्ट्री और म्यूटेशन जैसे जरूरी कदमों को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता।

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 05 Apr 2025 05:13:40 PM IST

प्रॉपर्टी रजिस्ट्री, Property Registry, म्यूटेशन प्रक्रिया, Property Mutation, प्रॉपर्टी रजिस्ट्रेशन दस्तावेज, Property Registration Documents, स्टांप ड्यूटी,

प्रतीकात्मक तस्वीर - फ़ोटो Google

Land mutation and registry : भारत में प्रॉपर्टी खरीदना जितना आसान लगता है, उतना ही जरूरी है उसकी रजिस्ट्री और म्यूटेशन जैसी कानूनी प्रक्रियाओं को समझना। ये सिर्फ कागज़ी कार्यवाही नहीं बल्कि संपत्ति पर आपके कानूनी अधिकार को प्रमाणित करती हैं और सरकारी रिकॉर्ड में आपका नाम दर्ज कराती हैं। अगर आपने इन्हें नजरअंदाज किया, तो भविष्य में बड़ा नुकसान उठाना पड़ सकता है।


अगर आप प्रॉपर्टी खरीदने की योजना बना रहे हैं, तो इन नियमों की जानकारी बेहद जरूरी है। जानकारी के कमी के कारण आप दलालों के जाल में फंस सकते हैं। साथ ही, सरकारी योजनाओं का लाभ, जैसे पीएम किसान सम्मान निधि योजना, तभी मिल सकता है जब जमीन आपके नाम पर हो। इसलिए रजिस्ट्री और म्यूटेशन की प्रक्रिया को गंभीरता से समझना जरूरी हो जाता है ।

क्या है प्रॉपर्टी रजिस्ट्री और इसकी अनिवार्यता

प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री का मकसद संपत्ति के मालिकाना हक को कानूनी रूप देना है। पंजीकरण अधिनियम 1908 की धारा 17 के अनुसार, अगर अचल संपत्ति की कीमत 100 रुपये से अधिक है (जो आज की तारीख में लगभग हर संपत्ति होती है), तो रजिस्ट्री कराना अनिवार्य है। यह नियम गिफ्ट डीड यानी उपहार में दी गई संपत्ति पर भी लागू होता है।

प्रॉपर्टी रजिस्ट्री के लिए जरूरी दस्तावेज

रजिस्ट्री के लिए कुछ जरूरी दस्तावेजों की आवश्यकता होती है, जैसे: बिक्री विलेख (Sale Deed), आधार कार्ड, पैन कार्ड, पते का प्रमाण, प्रॉपर्टी टैक्स की रसीदें, प्रॉपर्टी से जुड़े अन्य कानूनी दस्तावेज, स्टांप ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन फीस वहीँ ,रजिस्ट्री के समय स्टांप ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन फीस देनी होती है, जो संपत्ति के मूल्य और राज्य सरकार की नीति पर निर्भर करती है। यह शुल्क अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग होता है।

गवाहों की भूमिका और पात्रता

रजिस्ट्री के समय दो गवाहों की उपस्थिति जरूरी होती है। ध्यान रखें कि गवाह, 18 साल से कम उम्र का न हो, मानसिक रूप से अयोग्य न हो, संपत्ति के क्रय-विक्रय में सीधे तौर पर शामिल न हो नही तो आपको आगे चलकर परेशानी बढ़ सकती है | 

प्रॉपर्टी म्यूटेशन क्या है और क्यों जरूरी है?

म्यूटेशन एक राजस्व प्रक्रिया है, जिसके जरिए सरकारी रिकॉर्ड में संपत्ति के मालिकाना नाम में बदलाव किया जाता है। हालांकि, यह कानूनी स्वामित्व का प्रमाण नहीं होता। इसका मुख्य उद्देश्य प्रॉपर्टी टैक्स के रिकॉर्ड को सही व्यक्ति के नाम पर करना है।

म्यूटेशन कैसे कराएं – ऑफलाइन और ऑनलाइन तरीका

ऑफलाइन आवेदन: संबंधित तहसील, नगर निगम या पंचायत कार्यालय में आवेदन करना होता है।

आपको बता दे कि ऑनलाइन आवेदन, कई राज्यों ने ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से आवेदन की सुविधा दी है जिससे प्रक्रिया और आसान हो गई है।

म्यूटेशन के लिए जरूरी दस्तावेज

बिक्री विलेख (सेल डीड) की प्रमाणित प्रति, पहचान और पते का प्रमाण, प्रॉपर्टी टैक्स की रसीद, उत्तराधिकार प्रमाण पत्र (यदि संपत्ति वसीयत या विरासत से मिली हो)ये कागजात जरुरी है |

म्यूटेशन की फीस और समयसीमा

यह शुल्क हरेक राज्य में अलग अलग होता है , आमतौर पर 25 रुपये से लेकर 200 रुपये या इससे अधिक हो सकता है। प्रक्रिया पूरी होने का समय भी राज्य और स्थानीय निकाय पर निर्भर करता है।

जानिए सुप्रीम कोर्ट की राय और कानूनी स्थिति

सुप्रीम कोर्ट के अनुसार, म्यूटेशन केवल राजस्व प्रयोजनों के लिए होता है। यह संपत्ति के मालिकाना हक का प्रमाण नहीं होता। कानूनी रूप से मालिकाना हक साबित करने के लिए पंजीकृत बिक्री विलेख (Registered Sale Deed) ही मान्य दस्तावेज होता है।

म्यूटेशन समय पर कराना क्यों जरूरी है?

प्रॉपर्टी खरीदने के तुरंत बाद म्यूटेशन कराना इसलिए बेहद जरूरी है ताकि भविष्य में कोई विवाद न हो और प्रॉपर्टी टैक्स सही मालिक के नाम पर जमा हो सके।