ब्रेकिंग न्यूज़

बिहार बदलाव यात्रा के तहत गोपालगंज के तीन दिवसीय दौरे पर पहुंचे प्रशांत किशोर, पहले दिन चार जनसभाओं को किया संबोधित छपरा और सीवान पहुंचे तेजस्वी यादव ने शहीद जवानों को दी श्रद्धांजलि, परिजनों से हर संभव मदद का किया वादा BIHAR: मानसून में बालू खनन पर पूर्ण प्रतिबंध, सेकेंड्री लोडिंग प्वाइंट से होगी आपूर्ति बिहार में MSP पर दलहन-तेलहन खरीद के लिए नई व्यवस्था होगी लागू, बाजार मूल्य की अनिश्चितता से किसानों को मिलेगी राहत Bihar Crime News: बिहार में लूटपाट के दौरान युवक को मारी गोली, घर लौटने के दौरान बदमाशों ने बीच रास्ते में घेरा Bihar News: बिहार के इस जिले में 1000 करोड़ की लागत से सीमेंट ग्राइंडिंग इकाई की होगी स्थापना, 200 एकड़ में लगेगा उद्योग...500 लोगों को रोजगार Bihar News: बिहार में मानसून में बालू खनन पर पूर्ण प्रतिबंध, नहीं प्रभावित होगी आपूर्ति; सरकार ने की यह व्यवस्था Bihar News: बिहार में मानसून में बालू खनन पर पूर्ण प्रतिबंध, नहीं प्रभावित होगी आपूर्ति; सरकार ने की यह व्यवस्था Hot Water Bath: हर दिन गर्म पानी से नहा रहे हैं? सेहत पर पड़ सकता है ये असर; जानिए.. फायदे और नुकसान Hot Water Bath: हर दिन गर्म पानी से नहा रहे हैं? सेहत पर पड़ सकता है ये असर; जानिए.. फायदे और नुकसान

हाईकोर्ट का बड़ा फैसला: बीवी की रजामंदी के बिना नहीं ले सकते तलाक

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Mon, 28 Oct 2024 07:55:15 PM IST

हाईकोर्ट का बड़ा फैसला: बीवी की रजामंदी के बिना नहीं ले सकते तलाक

- फ़ोटो

DESK: एकतरफा तलाक पर मद्रास हाईकोई ने सोमवार को बड़ा फैसला सुनाया। कोर्ट ने कहा कि बीवी की रजामंदी के बगैर कोई तलाक नहीं ले सकता। यदि मुस्लिम पत्नी तलाक मानने से इनकार करती है तो इसका फैसला कोर्ट से ही होगा। यदि पति दूसरी शादी करता है तो पहली पत्नी को साथ रहने के लिए बाध्य नहीं कर सकता। पति की दूसरी शादी से यदि पहली पत्नी सहमत नहीं है तो पति को गुजारा भत्ता देना होगा। 


एकतरफा तलाक पर सुनवाई करते हुए मद्रास हाईकोर्ट ने यह फैसला सुनाया कि यदि मुस्लिम पति तलाक देता है और पत्नी उसे मानने से इनकार करती है, तो कोर्ट के माध्यम से ही तलाक मान्य होगा। कोर्ट को यह संतुष्ट करना होगा कि कानून के अनुसार उसने पत्नी को तलाक दिया है। मुस्लिम पर्सनल लॉ में पुरुषों को एक से अधिक शादी की इजाजत है। यदि पति दूसरी शादी करता है तो पहली पत्नी को साथ रहने के लिए बाध्य नहीं कर सकता। कोर्ट ने यह भी कहा कि पति की दूसरी शादी से यदि पहली पत्नी सहमत नहीं है तो पति को गुजारा भत्ता देना होगा।  


दरअसल मद्रास कोर्ट में एक पति ने पत्नी को मुआवजा देने के आदेश के खिलाफ याचिका दायर की थी। दोनों की शादी 14 साल पहले मुस्लिम रीति रिवाज से हुई थी। शादी के 7 साल बाद पत्नी ने घरेलू हिंसा की शिकायत दर्ज कराई थी। मजिस्ट्रेट ने 5 लाख रूपये मुआवजा और बच्चे के भरण-पोषण के लिए ढाई हजार रुपये प्रतिमाह देने का निर्देश पति को दिया था। लेकिन पति मुआवजा देने के आदेश के खिलाफ कोर्ट में याचिका दायर कर दी। जिस पर आज कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया।