PATNA: गोपालगंज के तत्कालीन डीएम जी कृष्णैया हत्याकांड में उम्रकैद की सजा काट रहे पूर्व सांसद आनंद मोहन की रिहाई की मांग उठने लगी है। कई राजनीतिक दलों की मांग के बाद अब एनडीए के सहयोगी दल राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी ने भी आनंद मोहन की रिहाई की मांग बिहार सरकार से की है। पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्रवण कुमार अग्रवाल ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और बिहार सरकार से आनंद मोहन की जेल से रिहाई कराने के लिए आवश्यक कदम उठाने की मांग की है।
राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्रवण अग्रवाल ने कहा कि जब कोर्ट ने पूर्व सांसद आनंद मोहन को सजा थी उस वक्त आनंद मोहन को निर्दोष मानते हुए नीतीश कुमार आंदोलन करने की बात करते थे। यहां तक कि उस समय आनंद मोहन के जेल जाने पर नीतीश कुमार ने उनके समर्थन में धरना भी दिया था। उन्होंने हम सुप्रीमो पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के मांग का समर्थन करते हुए कहा कि आनंद मोहन जेल में चौदह वर्ष से भी ज़्यादा सजा काट चुके हैं। आनंद मोहन स्वतंत्रता सेनानी परिवार से आते हैं। नीतीश कुमार ने भी आनंद मोहन को जेपी आंदोलन के समय का पुराना साथी बताया था और नीतीश कुमार ने महाराणा प्रताप की जयंती के अवसर पर पटना के मिलर स्कूल के मैदान में जनसभा में आनंद मोहन की रिहाई की बात कही थी।
उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार ने जनसभा को संबोधित करते हुए आनंद मोहन को अपना पुराना मित्र बताया था और यह भरोसा दिलाया था कि वे अपने स्तर से आनंद मोहन की रिहाई के लिए लगे हुए है लेकिन नीतीश कुमार के कहे अनुसार आज तक आनंद मोहन की रिहाई का नतीजा निकल कर सामने नहीं आया। राष्ट्रीय प्रवक्ता ने आगे कहा कि बिहार में राजद के आतंक और जंगल राज के ख़िलाफ़ और राज्य को राजद के आतंकराज से मुक्त कराने के लिए लोजपा के संस्थापक रामविलास पासवान के साथ आनंद मोहन ने काफ़ी संघर्ष किया था और लंबे समय तक रामविलास पासवान के साथ काम किया था। उन्होंने कहा कि जनभावना का सम्मान करते हुए नीतीश कुमार को आनंद मोहन की रिहाई के लिए ठोस कदम उठाना चाहिए।