ब्रेकिंग न्यूज़

Bihar News: बिहार के दो थानेदारों को SSP ने किया लाइन हाजिर, सरकारी काम में लापरवाही पड़ी भारी Bihar News: बिहार के दो थानेदारों को SSP ने किया लाइन हाजिर, सरकारी काम में लापरवाही पड़ी भारी Bihar Police Alert: स्वतंत्रता दिवस और चेहल्लुम को लेकर बिहार में हाई अलर्ट, पुलिस मुख्यालय ने जिलों को जारी किए निर्देश Bihar Police Alert: स्वतंत्रता दिवस और चेहल्लुम को लेकर बिहार में हाई अलर्ट, पुलिस मुख्यालय ने जिलों को जारी किए निर्देश Bihar Crime News: बिहार में बैंक के 251 खातों से 5.58 करोड़ की साइबर ठगी, ईओयू ने दर्ज किया केस Bihar Crime News: बिहार में बैंक के 251 खातों से 5.58 करोड़ की साइबर ठगी, ईओयू ने दर्ज किया केस Bihar Crime News: बिहार के इस जिले में बड़े सेक्स रैकेट का खुलासा, तीन नाबालिग लड़कियां बरामद; भारी मात्रा में मिलीं गर्भ निरोधक गोलियां Bihar Crime News: बिहार के इस जिले में बड़े सेक्स रैकेट का खुलासा, तीन नाबालिग लड़कियां बरामद; भारी मात्रा में मिलीं गर्भ निरोधक गोलियां Bihar Election 2025: कांग्रेस स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक की तारीख तय, बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर उम्मीदवारों के साथ होगी चर्चा Bihar Election 2025: कांग्रेस स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक की तारीख तय, बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर उम्मीदवारों के साथ होगी चर्चा

Bihar News: मानवाधिकार आयोग ने बिहार के DM और SSP को भेजा नोटिस, 18 पॉइंट्स पर मांगा जवाब

Bihar News: कांटी थाना हाजत में युवक शिवम झा की संदिग्ध मौत पर राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने संज्ञान लिया है. आयोग ने DM और SSP से 18 बिंदुओं पर विस्तृत रिपोर्ट मांगी है.

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 20 Apr 2025 02:19:11 PM IST

Bihar News

बिहार न्यूज - फ़ोटो GOOGLE

Bihar News: खबर मुजफ्फरपुर से है, जहां कांटी थाना हाजत में शिवम झा नामक युवक की रहस्यमयी मौत के मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) ने गंभीर रुख अपनाया है। आयोग ने जिलाधिकारी (DM) और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (SSP) को नोटिस जारी करते हुए 18 बिंदुओं पर विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। वहीं, जवाब देने के लिए अधिकारियों को छह सप्ताह का समय भी दिया गया है।


यह मामला तब उजागर हुआ जब मानवाधिकार अधिवक्ता एस. के. झा ने इस घटना को लेकर आयोग में याचिका दायर की थी। मृतक शिवम झा की संदिग्ध परिस्थितियों में पुलिस हिरासत में मौत को मानवाधिकार उल्लंघन का गंभीर मामला मानते हुए आयोग ने स्वयं ही संज्ञान लिया। जिसके बाद कुल 18 बिदुओं पर जवाब मांगते हुए समय भी दिया है। 


इन अहम बिंदुओं पर मांगी गई जानकारी

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने थाने में हुई मौत के सभी संभावित पहलुओं को शामिल करते हुए जिन महत्वपूर्ण दस्तावेजों और विवरणों की मांग की है, उनमें शामिल हैं:

गिरफ्तारी का समय, स्थान और कारण

मृतक के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी व शिकायत की कॉपी

गिरफ्तारी व निरीक्षण मेमो की प्रति

क्या गिरफ्तारी की सूचना परिवार या रिश्तेदारों को दी गई थी?


जब्ती व रिकवरी मेमो

मेडिकल लीगल सर्टिफिकेट (MLC) की प्रति

घटनास्थल का नक्शा (साइट प्लान)

घटना स्थल का पूर्ण विवरण और सीसीटीवी फुटेज या सीडी

मृत्यु समीक्षा रिपोर्ट और पोस्टमार्टम रिपोर्ट

पोस्टमार्टम प्रक्रिया का वीडियो


विसरा की रासायनिक व हिस्टोपैथोलॉजी रिपोर्ट

FSL रिपोर्ट के आधार पर मौत का अंतिम कारण

मजिस्ट्रियल जांच रिपोर्ट और उस पर की गई कार्रवाई

विभागीय या आपराधिक कार्यवाही की स्थिति, यदि कोई हो

CID/CBI जांच रिपोर्ट, यदि कोई कराई गई हो


इसके अलावा आयोग ने प्रश्न भी किया है कि हिरासत में हुई मौत की रिपोर्ट आयोग को 24 घंटे में क्यों नहीं दी गई? साथ ही कहा कि आयोग को जल्द से जल्द इन सभी बिन्दुओं पर स्पष्टीकरण मिलना चाहिए।


पुलिस महकमे में हड़कंपआयोग ने माना गंभीर उल्लंघन

इस नोटिस के बाद जिला प्रशासन और पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है। आयोग ने स्पष्ट किया है कि पुलिस हिरासत में किसी भी व्यक्ति की मृत्यु मानवाधिकार का घोर उल्लंघन मानी जाती है। ऐसे मामलों में आयोग हर पहलू की गहराई से जांच करता है और जवाबदेही तय करता है।


राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के साथ-साथ बिहार राज्य मानवाधिकार आयोग ने भी इस मामले में अपनी स्वतंत्र जांच प्रक्रिया शुरू कर दी है। मानवाधिकार अधिवक्ता एस. के. झा ने कहा कि थाने के भीतर किसी व्यक्ति की मौत प्रशासनिक लापरवाही का संकेत है और ऐसी घटनाएं देश के न्यायिक तंत्र के लिए एक चेतावनी हैं।